न्यूरोलॉजी (Neurology) क्या है ?



आज के समय में चिकित्सा जगत में कई सारे विशेष बदलाव देखे जाते हैं जो हमारी दिनचर्या के लिए बहुत ही आवश्यक होते हैं इसके अलावा किसी भी प्रकार की परेशानी होने पर भी हम आसानी के साथ उसका निवारण कर सकते हैं और अपने जीवन में आगे बढ़ सकते हैं |

हमारे शरीर में कार्य कर रहे  अंगों को विशेष रूप से देखभाल की आवश्यकता होती है | ऐसे में  कई सारे विशेषज्ञ चिकित्सक उपस्थित होते हैं जो विभिन्न प्रकार की समस्याओं को दूर करते हैं |  इसी कड़ी में आज हम  न्यूरोलॉजी के बारे में जानकारी प्राप्त करेंगे साथ ही साथ न्यूरोलॉजिस्ट से जुड़ी सभी जानकारियों को आपके साथ साझा करने वाले हैं  ताकि आप भी इनके बारे में सही तरीके से जानकारी लेते हुए किसी भी फैसले पर बढ़ सके |

डॉक्टर कितने प्रकार के होते हैं

न्यूरोलॉजी (Neurology) क्या है?

दरअसल न्यूरोलॉजी (Neurology) चिकित्सा जगत की वह शाखा है जिसके अंतर्गत तंत्रिका तंत्र संबंधी रोगों का उपचार किया जाता है | कई बार इन रोगों का उपचार करना मुश्किल जान पड़ता है लेकिन एक कुशल न्यूरोलॉजिस्ट की बदौलत  सही तरीके से इलाज किया जा सकता है। इसमें  तंत्रिका तंत्र के अंतर्गत  मस्तिष्क,मेरुरज्जु और इनसे निकलने वाली  विभिन्न प्रकार की तंत्रिका शामिल होती हैं जिनमें इलाज करते हुए आसानी के साथ रोगों को ठीक किया जाता है।

आज के समय में इस प्रकार की समस्याओं से कई लोगों को जूझना  पड़ता है और समय पर इलाज नहीं मिलने से दिक्कतों का सामना करना पड़ता है ऐसे में न्यूरोलॉजी के माध्यम से तंत्रिका तंत्र की समस्त रोगों को दूर करने की कोशिश की जाती है  और इस बात की भी संभावना जताई जाती है कि भविष्य में फिर से वही  रोग  दुबारा ना होने पाए |

न्यूरोलॉजिस्ट [Neurologist] क्या है?

ऐसे चिकित्सक जो न्यूरोलॉजी संबंधी जानकारियां रखते हैं एवं  साथ-साथ तंत्रिका तंत्र के विशेष प्रकार के रोगों को भी ठीक करने में महारत हासिल करते हैं उन्हें न्यूरोलॉजिस्ट [neurologist] कहा जाता है। मुख्य रूप से यह मस्तिष्क, मेरुरज्जु और तंत्रिकाओं का इलाज करते हैं जिसमें बहुत ही सावधानी की आवश्यकता होती है। कुछ  रोग  ऐसे होते हैं जिनके बारे में गहनता से विचार करना पड़ता है क्योंकि बारीकी से किया जाने वाला ऑपरेशन या कार्य सही माना जाता है | ऐसे में न्यूरोलॉजिस्ट का विशेष योगदान होता है जिनके माध्यम से तंत्रिका तंत्र या उससे संबंधित रोगों को ठीक करने में हमारी मदद करते हैं |

न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) द्वारा किए गए रोगों का उपचार

सामान्य रूप से ऐसा देखा जाता है कि प्रत्येक अंगों के रोगों के लिए विशेष प्रकार के चिकित्सक की आवश्यकता होती है | ऐसे में न्यूरोलॉजिस्ट के माध्यम से भी कई प्रकार के रोगों को ठीक किया जाता है जो पिछले कई वर्षों से आपके लिए परेशानी का सबब बने हुए हैं। ऐसे में मुख्य रोगों  को न्यूरोलॉजिस्ट द्वारा ठीक किए जाने की संभावना जताई जाती है |

  • ब्रेन हेमरेज |
  •  दिमागी  संक्रमण |
  •  बार बार चक्कर आना |
  •  मिर्गी का दौरा आना |
  •  माइग्रेन, हाइपरटेंशन  जैसी समस्या होना |
  •  साइटिका हो जाना |
  •  न्यूरोपैथी  होना |
  •  अल्जाइमर रोग के लक्षण दिखाई देना |
  •  पार्किंसन रोग हो जाना |
  •  ब्रेन स्ट्रोक हो जाना |
  •  गर्दन या पीठ में जोड़ों का दर्द होना |

 न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) कैसे बने?

  • आज के समय में से चिकित्सा जगत में आगे बढ़ना एक बहुत ही गर्व की बात होती है | ऐसे में दूसरे लोगों की मदद करते हुए  उनके जीवन को सुरक्षित रखा जा सकता है | ऐसे में न्यूरोलॉजिस्ट बनना भी एक अच्छा विकल्प होता है जिसके लिए कड़ी मेहनत करनी होती है |
  • एक अच्छे न्यूरोलॉजिस्ट बनना चाहते हैं तो इसके लिए विद्यार्थी जो 12वीं की परीक्षा में फिजिक्स केमिस्ट्री और  बायोलॉजी  लेकर आगे बढ़ते हैं उन्हें एंटी  आयोजित  होने वाली मुख्य  मेडिकल एग्जाम में हिस्सा लेना होगा। इसके अलावा अगर आप चाहें तो अच्छे मेडिकल कॉलेज में प्रवेश लेने के लिए NEET UG  जैसी परीक्षा को भी  पास करना होगा जो प्रतिवर्ष मई या जून में आयोजित की जाती है |
  • इसके बाद अगर एमबीबीएस की डिग्री पूरी हो चुकी हो तो फिर  डेढ़ साल के लिए  एमडी  कंपलसरी ट्रेनिंग के लिए जाना होता  है |  जहां पर आसानी से ही अपनी डिग्री को पूरा कर सकते हैं |
  • जैसे ही आप  एमडी की डिग्री पूरी कर लेते हैं, तो फिर न्यूरोलॉजी के लिए प्रवेश लिया  जा सकता है, जो 3 साल का होता है |
  • अगर आपने 3 साल का न्यूरोलॉजी का कोर्स पूरा कर लिया हो, तो उसके बाद आप मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया में रजिस्टर्ड हो सकते हैं और साथ ही साथ किसी प्राइवेट हॉस्पिटल या फिर सरकारी अस्पताल में भी न्यूरोलॉजिस्ट के रूप में कार्य कर सकते हैं |

न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) बनने के लिए विशेष योग्यता

  • अगर आप एक कुशल न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) बनना चाहते हैं, तो इसके लिए आपके अंदर कुछ विशेष योग्यताओं का होना आवश्यक है |
  • इसके लिए सबसे पहले आपको किसी भी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से एमबीबीएस में बैचलर डिग्री प्राप्त करना होगा |
  •  इसके अलावा कई बार किसी विश्वविद्यालय से मुख्य एग्जाम  लिए जाते हैं जिनमें MCAT, USMLE EXAM मुख्य होते हैं जिन्हें पास करना आवश्यक होता है |
  •  इसके अलावा एमबीबीएस डिग्री के बाद कार्य का अनुभव होना भी आवश्यक माना जाता है |

न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) बनने के लिए इंडिया की टॉप यूनिवर्सिटी

अगर आप भारत में ही रहकर  न्यूरोलॉजी करना चाहते हैं तो यह आपके लिए अच्छे विकल्प मौजूद हैं जहां आप इन टॉप यूनिवर्सिटी में रहकर अपनी पढ़ाई पूरी कर सकते हैं |

  • जामिया हमदर्द यूनिवर्सिटी, दिल्ली |
  •  सेंट जॉन मेडिकल कॉलेज, बेंगलुरु |
  •  डॉ डी वाय पाटील विद्यापीठ, पुणे |
  • श्री राम चंद्र इंस्टीट्यूट आफ हायर एजुकेशन एंड रिसर्च, चेन्नई |
  •  कस्तूरबा मेडिकल कॉलेज, मणिपाल |
  •  बैंगलोर मेडिकल कॉलेज एंड रिसर्च इंस्टीट्यूट |
  • पोस्ट ग्रैजुएट इंस्टीट्यूट आफ मेडिकल एजुकेशन एंड रिसर्च |

न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) के अंतर्गत होने वाले फैलोशिप प्रोग्राम

अगर एक अच्छे न्यूरोलॉजिस्ट बनना चाहते हैं ऐसे में एडिशनल ट्रेनिंग की आवश्यकता होती है जिसके अंतर्गत विद्यार्थियों को एक विशेष रूप से सर्टिफिकेट दिया जाता है जो उनके फैलोशिप प्रोग्राम को प्रैक्टिस के योग्य बनाते हैं साथ ही साथ आगे किसी भी प्रकार की इलाज करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं | ऐसे में कुछ मुख्य फैलोशिप प्रोग्राम को आजमा कर सही दिशा में आगे बढ़ा जा सकता है |

  • Neuro – oncology [UCNS]
  • Sleep medicine [ABPN]
  • Neuromuscular medicine [ABPN]
  • Vascular neurology [ABPN]
  • Neuroimaging [UCNS]
  • Automatic disorder [UCNS]
  • Behavioral neuroscience and neuropsychiatry [UCNS]
  • Brain injury medicine [ABPN]
  • Clinical neuromuscular pathology [UCNS]
  • Headache medicine [UCNS]
  • Neurocritical care [UCNS]
  • Epilepsy [ABPN]
  • Nerve repair and rehabilitation [UCNS]
  • Neurodevelopmental disabilities [ABPN]

एमबीबीएस, एमडी का मतलब क्या होता है

न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) में करियर के बेहतर विकल्प

न्यूरोलॉजी एक ऐसा आधार है जिसके मद्देनजर बेहतर विकल्प हासिल किए जा सकते हैं। इससे मिलने वाली डिग्री आपको कई प्रकार के अवसर प्रदान करते हैं, जिस पर चलकर आप लोगों की सेवा भी कर सकते हैं |

  • Radiation physicist.
  • Nutritionist.
  • Audiologist.
  • Social worker.
  • Histopathology.
  • MRI technician.
  • Epidemic.
  • Bio statistician.
  • Neurology ward administrator.
  • Academic based job.
  • Nurse practitioner.
  • Physician assistant.
  • Occupational therapist.
  • Technician and research scientist.

न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) द्वारा किए जाने वाले विभिन्न प्रकार के  परीक्षण

जब भी हम किसी न्यूरोलॉजिस्ट के पास जाते हैं तो शुरुआत में कई प्रकार के परीक्षण करवाए जाते हैं, जिनके माध्यम से किसी भी रोग को आसानी के साथ पकड़ा जा सकता है। इसके अलावा कुछ  मेडिकल टेस्ट  ऑपरेशन थिएटर में भी होते हैं जिसके माध्यम से मरीज को सही और पूरा इलाज दिया जा सकता है |

  • Skin and muscle biopsy.
  • Computed tomography.
  • Magnetic resonance imaging [MRI]
  • Lumbar puncture [LP]
  • Botulinum toxin injection.
  • Nerve conduction studies and electromyography [EMG]
  • Electroencephalography [EEG]
  • Angiogram.
  • Intrauterine brain and spine monitoring.
  • Aneurysm deposition.

न्यूरोलॉजिस्ट ( Neurologist ) की सैलरी

अगर कोई न्यूरोलॉजिस्ट सरकारी क्षेत्र में कार्य करता है तो शुरुआत में उनकी सैलरी 80,000 से लेकर ₹90,000 प्रति माह हो सकती है। इसके अलावा कुछ जरूरी भत्ते मिलते हैं जिसके अंतर्गत उन्हें मेडिकल एजुकेशन में शामिल होने के लिए ट्रैवल एलाउंस, मकान, नॉन प्रैक्टिस  अलाउंस भी प्राप्त होता है।

लेकिन अगर अनुभव ज्यादा हो गया हो, तो फिर आने वाले वर्षों में उनकी सैलरी लगभग ₹2,00000 से लेकर ₹5,00000 हो सकती है | इसके अलावा अगर आप विदेश में काम करना चाहे तो आपकी सैलरी लगभग डबल हो जाती है जो आपके लिए फायदेमंद हो सकता है |

न्यूरोलॉजिकल ( Neurologist ) डिसऑर्डर का इलाज

  • ऐसा देखा जाता है कि न्यूरोलॉजी में अगर किसी प्रकार की समस्या आती है तो न्यूरोलॉजिस्ट द्वारा भी किसी भी रोग के लिए ऐसा समाधान नहीं देखा जाता है जिसमें तुरंत ही रोक को ठीक किया जा सके।
  • ऐसी स्थिति में रोगी की सही तरीके से देखभाल करना  उस रोग का इलाज माना जाता है क्योंकि न्यूरोलॉजी में जब तक सही तरीके से देखभाल नहीं होती है तब तक पूरा इलाज नहीं माना जाता है | अगर किसी प्रकार की गंभीर स्थिति होती है उसी स्थिति में ही न्यूरोलॉजिस्ट द्वारा ऑपरेशन करने की सलाह दी जाती है।
  • जो भी ऑपरेशन किया जाता है उसमें न्यूरो सर्जन की महत्वपूर्ण भूमिका होती है | ऐसे में हमेशा किसी भी रोग का इलाज करने से पहले न्यूरोलॉजिस्ट ना घबराने की सलाह देते हैं जिसके अंतर्गत रहते हुए कार्य को अंजाम दिया जाता है |
  • सही तरीके से इलाज नहीं मिल पाता  है | ऐसे में  लोगों को भी सावधान होने की आवश्यकता है ताकि उन्हें हर रोग से बचाया जा सके |

बीएचएमएस (BHMS) कोर्स क्या है ?

Leave a Comment